मानदेय बढ़ाने की मांग कर रहे उच्च प्राथमिक विद्यालयों में तैनात अनुदेशक शिक्षकों पर मंगलवार को पुलिस ने जमकर लाठियां बरसाईं। सरकार पर वादाखिलाफी का आरोप लगाकर भाजपा कार्यालय का घेराव करने जा रहे अनुदेशकों को रोकने पर हुई नोकझोंक के बाद पुलिस ने लाठीचार्ज कर दिया, जिससे कई प्रदर्शनकारियों को चोटें आई हैं।
उच्च प्राथमिक अनुदेशक शिक्षक वेलफेयर एसोसिएशन के आह्वान पर काफी संख्या में अनुदेशक दारुलशफा में इकट्ठे हुए और प्रदेश अध्यक्ष तेजस्वी शुक्ल की अगुवाई में भाजपा कार्यालय की ओर कूच कर दिया। यहां पहले से मुस्तैद पुलिस ने उन्हें रालोद कार्यालय के पास बैरीकेटिंग लगाकर रोक दिया। इससे नाराज प्रदर्शनकारियों ने सड़क पर बैठ कर नारेबाजी शुरू कर दी।
करीब दो घंटे तक चले प्रदर्शन के बाद पुलिस के सब्र का बांध टूट गया और अनुदेशकों पर लाठीचार्ज कर दिया। इससे वहां भगदड़ मच गई और कई अनुदेशकों को चोटें आईं।
संगठन के मीडिया प्रभारी मोहम्मद फैसल ने बताया कि वार्षिक कार्य योजना और बजट 2017 व 18 में अनुदेशकों के मानदेय के लिये प्रस्तावित 17000 रुपये के प्रस्ताव पर मानव संसाधन एवं विकास मंत्रालय के पीएबी में सैद्घांतिक सहमति हो गई।
करीब दो घंटे तक चले प्रदर्शन के बाद पुलिस के सब्र का बांध टूट गया और अनुदेशकों पर लाठीचार्ज कर दिया। इससे वहां भगदड़ मच गई और कई अनुदेशकों को चोटें आईं।
संगठन के मीडिया प्रभारी मोहम्मद फैसल ने बताया कि वार्षिक कार्य योजना और बजट 2017 व 18 में अनुदेशकों के मानदेय के लिये प्रस्तावित 17000 रुपये के प्रस्ताव पर मानव संसाधन एवं विकास मंत्रालय के पीएबी में सैद्घांतिक सहमति हो गई।
बजट जारी होने के 11 महीने बाद भी नहीं जारी हुआ शासनादेश
केंद्र सरकार से बजट की पहली किश्त भी जारी हो चुकी है लेकिन 11 महीने बीतने के बाद भी शासनादेश जारी नहीं किया गया। प्रदेश अध्यक्ष तेजस्वी शुक्ल का आरोप है कि बजट 2018 व 19 में मानदेय 17000 से घटाकर 9800 रुपये का प्रस्ताव भेजा जा रहा है, जो अनुदेशकों के साथ धोखा है।
प्रदेश महामंत्री महेंद्र पाठक ने बताया कि अनुदेशकों के नवीनीकरण में अधिकारी शासनादेश की गलत व्याख्या कर हर साल अनुदेशकों की संविदा समाप्त करने की धमकी देकर शोषण कर रहे हैं। उन्होंने स्वत: नवीनीकरण का आदेश जारी करने की मांग की।
प्रदेश महामंत्री महेंद्र पाठक ने बताया कि अनुदेशकों के नवीनीकरण में अधिकारी शासनादेश की गलत व्याख्या कर हर साल अनुदेशकों की संविदा समाप्त करने की धमकी देकर शोषण कर रहे हैं। उन्होंने स्वत: नवीनीकरण का आदेश जारी करने की मांग की।