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शिक्षा में वर्षों से जमे अफसर हटेंगे
परियोजना
निदेशक ने शासन से मांगी अनुमति
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शिक्षा राज्य परियोजना निदेशालय में वर्षों से जमे अफसरों को हटाने की तैयारी है।
इससे पहले प्रतिनियुक्ति पर अफसरों की तैनाती की जाएगी। जैसे-जैसे प्रतिनियुक्ति
पर अफसर जॉइन करेंगे, पुराने हटते जाएंगे। सर्व
शिक्षा अभियान की राज्य परियोजना निदेशक शीतल वर्मा ने शासन से इस संबंध में
अनुमति मांगी है।
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शिक्षा अभियान में परियोजना निदेशक व अपर परियोजना निदेशक के पद पर आईएएस अफसर की
तैनाती होती है। इसके अलावा वरिष्ठ विशेषज्ञ व विशेषज्ञ के साथ अन्य पदों पर
प्रतिनियुक्ति पर अधिकारियों को लाया जाता है। नियमत: पांच साल बाद प्रतिनियुक्ति
पर आए अधिकारियों को अपने मूल विभाग में लौट जाना चाहिए लेकिन वे वापस अपने मूल
विभाग में जाने को तैयार नहीं हैं। इसकी वजह यहां मिलने वाली सुख-सुविधाएं बताई जा
रही हैं।
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निदेशक के पद पर कुछ माह पहले आईएएस अधिकारी शीतल वर्मा ने जॉइन किया है। सूत्रों
के अनुसार निदेशालय के कई अधिकारियों की कार्यप्रणाली से वह संतुष्ट नहीं हैं। कुछ
की कार्यप्रणाली संदेह के दायरे में है। इसलिए वह चाहती हैं कि पांच साल की अवधि
पूरी कर चुके अधिकारियों को उनके मूल विभाग में भेज दिया जाए। इस संबंध में सचिव
बेसिक शिक्षा एचएल गुप्ता से अनुमति मांगी है। सचिव जैसे ही अनुमति देंगे, वर्षों से जमे अधिकारियों को हटा दिया जाएगा।
फिर
खुल सकती है अग्निकांड की फाइल
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शिक्षा अभियान के राज्य परियोजना निदेशालय में आग लगने के बाद तरह-तरह की चर्चाएं
उच्चाधिकारियों तक पहुंची थी। सचिव बेसिक शिक्षा एचएल गुप्ता के निर्देश पर जांच
कमेटी बनाई गई तो एक ऐसे अधिकारी को इसका सदस्य बनाया गया जो संदेह के घेरे में
था। बेसिक शिक्षा मंत्री राम गोविंद चौधरी की फटकार के बाद इसे जांच समिति से हटा
तो दिया गया
लेकिन
दोषियों पर आज तक कार्रवाई नहीं हुई। सूत्रों के अनुसार अग्निकांड के दोषियों पर
कार्रवाई की फाइल एक बार फिर खुल सकती है।
साभार अमरउजाला