Sunday, January 19, 2014


बच्चों के साथ शिक्षा मित्र धरने पर डटीं


लखनऊ। कड़ाके की सर्दी...। सिर पर टेंट का जो साया था वह भी मौसम की मार नहीं झेल सका...। कभी शॉल में दुबकती...आवाज बुलंद करती तो दूसरे पल ही अपने मासूम का खयाल आते ही उसे ठंड से बचाने की जुगत...। कोई मां की गोद में दुबका तो कोई बगल में खुद में सिमट जाने की कोशिश करता...। सर्दी से परेशान, एकटक आते-जाते लोगों को निहारती आंखें...मानों सवाल कर रही हों कि उन्हें किस बात की सजा मिली है। जी हां, यही नजारा रहा शनिवार को शिक्षा मित्रों के धरनास्थल पर। 12 दिनों से लक्ष्मण मेला मैदान में डटे शिक्षा मित्रों का परिवार भी शनिवार को उसमें शामिल होने लगा।

शॉल में दुबकी प्रतापगढ़ की संतोष कुमारी कभी आवाज बुलंद करतीं तो दूसरे क्षण ही अपने आठ साल के बेटे को वही शॉल ओढ़ातीं। पूछने पर कि बच्चे को क्यों लाया तो तपाक से बोल पड़ीं-पिछले दस दिन से धरने पर बैठी हूं। बच्चा तो जिद करेगा ही। नहीं माना तो आज पति लेकर आ गए। वह सवाल उठाती हैं-3200 रुपये मिलते हैं। इसमें गुजारा कैसे होगा, सरकार को सोचना चाहिए...। रमा यादव तो और भी परेशान दिखीं। प्रतापगढ़ की रमा के चार व छह साल के दो बच्चे भी धरने पर मां के साथ हैं। वह कभी एक को संभालती तो कभी दूसरे को। यही हाल रहा पीलीभीत से आई किरण मिश्रा का। उनके भी दो मासूम बच्चे ठंड में ठिठुरते दिखे। इलाहाबाद से आई आशा के साथ भी उनका 12 साल का बच्चा है। कहती हैं सरकार सुनेगी कैसे नहीं। अभी तो बच्चा आया है, सरकार नहीं मानी तो पूरा परिवार धरने पर बैठेगा। सात साल के अपने बच्चे को संभालती पीलीभीत की नीता शर्मा भी उनकी हां में हां मिलाती हैं तो प्रतापगढ़ से आई सुनीता सिंह अपने आठ साल के बच्चे के कंधे पर हाथ रखते हुए कहती हैं, इसके सिवा हमारे पास चारा ही क्या है?

आदर्श शिक्षा मित्र वेलफेयर एसोसिएशन के तत्वावधान में जुटे प्रदेश भर के शिक्षा मित्रों के साथ उनके नौनिहाल यूं ही कड़ाके की सर्दी से दो-चार हो रहे हैं। इस दौरान प्रदेश अध्यक्ष जितेंद्र शाही ने अनिश्चितकालीन भूख हड़ताल का ऐलान कर दिया। शाही ने कहा कि सरकार शिक्षा मित्र को बिना टीईटी के परिषदीय प्राथमिक विद्यालयों में समायोजन की शर्त मानने को तैयार नहीं है। वह सवाल उठाते हैं कि, सरकार की संवेदना कहां चली गई है 12 दिन से लगातार शिक्षा मित्र अपनी मांग को लेकर नदी किनारे छोटे-छोटे बच्चों को लेकर रात-दिन प्रदर्शन कर रहे हैं।

शिक्षा मित्र कल से स्कूलों में करेंगे तालाबंदी

लखनऊ (ब्यूरो)। शिक्षक बनाने की मांग को लेकर शिक्षा मित्रों का आंदोलन तेज होता जा रहा है। आदर्श शिक्षा मित्र वेलफेयर एसोसिएशन के बाद उत्तर प्रदेश शिक्षा मित्र शिक्षक कल्याण समिति ने आंदोलन का बिगुल बजा दिया है। शिक्षक समिति समिति से जुड़े शिक्षा मित्र सोमवार से स्कूलों में तालाबंदी करेंगे। यह जानकारी समिति के प्रदेश अध्यक्ष अनिल कुमार वर्मा ने दी। उन्होंने बताया कि 25 जनवरी तक तालाबंदी के बाद 26 जनवरी को विधान भवन के सामने धरना देते हुए सपा के घोषणा पत्र का पुतला फूंका जाएगा। इसके बाद भी बात न बनी तो शिक्षा मित्र 30 जनवरी को विधान भवन के सामने आत्मदाह करेंगे।

अपनी मांग मनवा के रहेंगे

प्रतापगढ़ से आई प्रांतीय सचिव रीना सिंह कहती हैं कि बच्चों के साथ धरने पर बैठने को तो सरकार ने ही मजबूर किया। 32 सौ रुपये के मानदेय में अब शिक्षा मित्र काम नहीं करेगा। सरकार जब तक बिना टीईटी के समायोजन की मांग को मानते हुए शासनादेश जारी कर नहीं करती, हम मानने वाले नहीं। प्रदेश महामंत्री विश्वनाथ सिंह कुशवाहा का कहना है कि सरकार को मासूमों पर तो तरस आना चाहिए।

इलाज की भी व्यवस्था नहीं

शिक्षा मित्रों के आधा दर्जन साथी ठंड में बीमार होकर अस्पताल व क्लिनिकों में इलाज करा रहे हैं। कई और महिला व पुरुष शिक्षा मित्र खांसी-जुकाम व जकड़न से परेशान हैं। कई बुखार से पीड़ित हैं। शिक्षा मित्रों का कहना है कि इसके बावजूद उन्हें चिकित्सीय सहायता तक नहीं मिल रही है।

साभार अमरउजाला