डीएम का आदेश भी नहीं
मानते मदरसा संचालक
वाराणसी (एसएनबी)। शासन प्रशासन के आदेश का
शहर के मदरसे अनुपालन नहीं कर रहे हैं। आलम यह है कि भीषण ठंड के बावजूद तलबा
(छात्र) मदरसा जाने को मजबूर है। इसकी वजह यह है कि जिलाधिकारी स्तर पर या शासन
स्तर पर जब भी ठंड या किसी अन्य कारण से शिक्षण संस्थान को बंद करने का आदेश जारी
होता हैं उसमें स्पष्ट तौर पर मदरसों का नाम नहीं लिया जाता। इसका फायदा मदरसा
प्रबंधन उठाता है और वो उन तिथियों को भी मदरसा खोले रहता है जिसमें शासन स्तर या
जिला प्रशासन स्तर से शिक्षण संस्थान को बंद करने का सख्त आदेश दिया जाता है। शहर
कई अनुदानित व दर्जनों गैर अनुदानित मदरसे जिलाधिकारी द्वारा छुट्टी के आदेश के
बावजूद शनिवार को भी खुले रहे। हालांकि जिला अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी विनोद
कुमार जायसवाल कहते हैं कि कुछ मदरसे खुले होने की शिकायत मिली है, उसमें अलईपुरा इलाक़े
का भी एक मदरसा शामिल है। लेकिन वो मदरसा केवल कन्फ्यूज़न में ही खुला था। मदरसे की
मंशा ये नहीं थी कि वो जिलाधिकारी के आदेश की अवहेलना करे। उन्होंने कहा कि मदरसे
रविवार से खुल जायेंगे। क्यों कि मदरसों में अवकाश शुक्रवार को होता है। उन्होंने यह
भी कहा कि अब जब ऐसी छुट्टी होगी तो उसमें मदरसों का भी नाम जोड़वा दिया जायेगा।
बहरहाल जो भी हो उन मासूम बच्चों का क्या जो भीषण ठंड में अल सुबह मदरसा जाने को
मजबूर हुए, उसमें अगर किसी बच्चे
को ठंड लग जाती या कोई अनहोनी हो जाती हो इसकी जिम्मा किसका होता? यह एक बड़ा सवाल है? जिला व राज्य स्तर पर
ठंड से होने वाली छुट्टी पर खुले रहते हैं मदरसे
साभार
राष्ट्रीयसहारा