शिक्षकों को बढ़ा वेतन व प्रमोशन जल्द
Tue, 24 Dec 2013
लखनऊ (जागरण ब्यूरो)। सूबे के परिषदीय स्कूलों के शिक्षकों को जल्द ही बढ़ा हुआ न्यूनतम मूल वेतन मिलेगा। परिषदीय प्राथमिक स्कूलों से उच्च प्राथमिक विद्यालयों में सहायक अध्यापकों की पदोन्नति को न्यूनतम समयावधि पांच से तीन साल की जाएगी।
परिषदीय स्कूलों में सेवारत शिक्षकों की मृत्यु होने पर उनके आश्रितों को न्यूनतम शैक्षिक योग्यता के आधार पर शिक्षक पद पर नियुक्ति देकर उन्हें सेवारत प्रशिक्षण और अध्यापक पात्रता परीक्षा (टीईटी) उत्तीर्ण करने का मौका दिया जाएगा। वहीं दूरस्थ शिक्षा के जरियेपहले बीटीसी ट्रेनिंग पूरी करने वाले शिक्षामित्रों के पहले बैच को जनवरी 2014 में समायोजित कर उन्हें टीईटी उत्तीर्ण करने का अवसर दिया जाएगा।
शिक्षक संगठनों के प्रतिनिधियों के साथ कल सरकारी आवास पर हुई डेढ़ घंटे की बातचीत के दौरान मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने उनकी इन मांगों को मानने पर सहमति जतायी लेकिन किसी किस्म की घोषणा करने से परहेज किया। वार्ता के दौरान मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने अनुदानित माध्यमिक विद्यालयों में तैनात तदर्थ शिक्षकों के विनियमितीकरण, सीटी से प्रोन्नत शिक्षकों को सीटी की सेवाओं का लाभ और एलटी वेतनमान के शिक्षकों को प्रोन्नत वेतनमान देने के लिए स्नातक उपाधि की अनिवार्यता को खत्म करने की मांगों पर भी रजामंद हुए। उन्होंने राजकीय माध्यमिक विद्यालयों के शिक्षकों का प्रोन्नति कोटा पूरा करने और उनकी वरिष्ठता सूची जारी करने की मांगों को भी स्वीकार किया। मुख्यमंत्री ने बताया कि राजकीय शिक्षकों के अंतिम जीपीएफ का भुगतान ऑनलाइन कराने की व्यवस्था की जा रही है।
महाविद्यालयों के शिक्षकों को छठे वेतनमान के एरियर का भुगतान भी जल्द कराने का आश्वासन दिया। विश्वविद्यालय अनुदान आयोग नियमन 2010 को जल्द अधिसूचित करने और इसके जारी होने से पहले करियर एडवांसमेंट योजना के अनुसार प्रोन्नत वेतनमान में प्रोन्नत होने वाले शिक्षकों को पुरानी योजना के मुताबिक प्रोन्नत वेतनमान मंजूर करने का भी भरोसा दिलाया।
मुख्यमंत्री ने शिक्षक संगठनों को भरोसा दिलाया कि जिन मांगों पर सहमति बनी है, उनके बारे में लोकसभा चुनाव की आचार संहिता लागू होने से पहले शासनादेश जारी किये जाएंगे। संगठनों की अन्य मांगों पर उन्होंने सकारात्मक तरीके से विचार करने का आश्वासन दिया। बैठक में बेसिक शिक्षा मंत्री राम गोविंद चौधरी, माध्यमिक शिक्षा राज्य मंत्री विजय बहादुर पाल, सचिव बेसिक शिक्षा नीतीश्वर कुमार, निदेशक माध्यमिक व बेसिक शिक्षा वासुदेव यादव भी मौजूद थे। शिक्षकों का पक्ष उप्र शिक्षक महासंघ के संरक्षक ओम प्रकाश शर्मा, अध्यक्ष लल्लन मिश्र, शिक्षक दल के विधायक, चेत नारायण सिंह, राधा कृष्ण पाठक, सुनील कुमार भड़ाना, डॉ.हरेंद्र कुमार राय, रवींद्र नाथ शुक्ल, परमानंद पांडेय, अवधेश कुमार मिश्र, लवकुश कुमार मिश्र ने रखा।